डेस्क: पश्चिम बंगाल के वाणिज्य मंत्री पार्थ चटर्जी को सीबीआई ने बीते दिनों आइ-कोर चिटफंड घोटाले के संबंध में पूछताछ के लिए पेश होने के लिए कहा था। लेकिन पार्थ चटर्जी ने सीबीआई के समक्ष उपस्थित होने में असमर्थता जताई थी। इसके लिए उन्होंने उपचुनाव का हवाला देते हुए सीबीआई के समक्ष उपस्थित होने में खुद को असमर्थ बताया था।
घर आकर पूछताछ करने का दिया सुझाव
उन्होंने सीबीआई को एक पत्र लिखकर बताया कि वह एक वरिष्ठ नागरिक हैं और वर्तमान में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के लिए उप चुनाव की तैयारियों में व्यस्त हैं इसलिए फिलहाल वह सीबीआई अधिकारियों के सामने उपस्थित नहीं हो सकते। हालांकि पार्थ चटर्जी ने अधिकारियों को उनके घर आकर से पूछताछ करने का सुझाव दिया था। उनका कहना था कि उनके घर आकर पूछताछ करना चाहते हैं तो वह इसके लिए उपलब्ध रहेंगे। बता दें कि इससे पहले ममता बनर्जी के भतीजे अभिषेक बनर्जी की पत्नी रुजिरा बनर्जी ने भी सीबीआई को कुछ ऐसा ही सुझाव दिया था।
पूछताछ के लिए सीबीआई पहुंची कार्यालय
पार्थ चटर्जी के सुझाव पर सीबीआई के वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा चिंतन किया जा रहा था। लेकिन अब फैसला हो चुका है और पार्थ चटर्जी की मुश्किलें बढ़ गई है। क्योंकि आई-कोर चिटफंड घोटाले से संबंधित पूछताछ के लिए सीबीआई उनके कोलकाता स्थित कार्यालय पर पहुंच चुकी है। यहीं पर उनसे कई घंटों तक आई-कोर चिटफंड घोटाले से संबंधित पूछताछ किए जाएंगे।
West Bengal: Central Bureau of Investigation (CBI) team reaches TMC Minister Partha Chatterjee’s office in Kolkata to question him in connection with the I-Core chit fund scam
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— ANI (@ANI) September 13, 2021
पार्थ के खिलाफ CBI को मिले सबूत
8 सितंबर के दिन सीबीआई ने पार्थ चटर्जी को एक पत्र लिखकर उन्हें कोर्ट दक्षिण कोलकाता के निजाम पैलेस स्थित सीबीआई के मुख्यालय में पेश होने के लिए कहा था। इसके पीछे की वजह पार्थ चटर्जी का आई-कोर ग्रुप के साथ सीधा संबंध होना था। सीबीआई के सूत्रों की मानें तो एक वीडियो क्लिप मिली है जिसमें पार्थ चटर्जी आई-कोर प्रमुख अनुकूल मैती के साथ एक कार्यक्रम में मंच पर पाए गए थे और उन्हें आई-कोर के पक्ष में बोलता हुआ चुना गया था।
अक्सर करते हैं पूछताछ से परहेज
इस वीडियो क्लिप में उस वक्त की तारीख पाई गई है जब आइकोर के खिलाफ पहले ही कई शिकायतें की जा चुकी थी। ऐसे में सवाल उठता है कि राज्य मंत्री होने के नाते पाक उनके कार्यक्रम में क्यों गए थे और उनके पक्ष में उन्होंने क्यों बातें की। बता दें कि इससे पहले भी कई बार सीबीआई और ईडी जैसे केंद्रीय एजेंसियों ने पार्थ चटर्जी के खिलाफ नोटिस जारी किया है। लेकिन हर बार वह चुनाव व अन्य राजनीतिक कार्यक्रमों का हवाला देकर पूछता से परहेज करते आ रहे हैं।